श्री महालक्ष्म्यष्टकम् इंद्र देव द्वारा माता महालक्ष्मी की भक्तिपूर्ण स्तुति है, जिसे पद्म पुराण मे समायोजित किया गया है।
Mahalakshmi Ji Dohe In Hindi | Song Details |
★★★★★★★★★★★★★★★★★★ मां कमला वरदायिनी, नमन करें स्वीकार। हाथ जोड़ विनती करूँ,जग की तारनहार।। ◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆ | ★★★★★★★★★★★★★★★★★★ Track – Mahalakshmi Ashtakam Singer – Anuradha Paudwal Composer – Shailesh Dani Lyrics – Traditional Language – Sanskrit Label – Times Music Spiritual ◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆◆ |
Mahalakshmi Ashtakam Download in MP3 & MP4
- Click Copy URL Button first.
- After copy Url, click on download button below.
- After Clicking Download button. Click on download button and Paste the copied Url in the given Box.
- After Paste the Url. Click the download button and download Bhajan in any formate as you want.
यह भी देखें – You May Like
- 👉🏻Shri Vishnu Chalisa -Thursday Special Bhajan
- 👉🏻Shree Hanuman Chalisa – Gulshan Kumar – Hariharan
- 👉🏻Aarti Hanuman Ji Ki – Lata Mangeshkar
- 👉🏻Shiv Chalisa – Anuradha Paudwal
- 👉🏻Ashutosh Shashank Shekhar – Shri Shiv Ji Mantra
- 👉🏻Om Jai Shiv Omkara Aarti – LAKHBIR SINGH LAKKHA
श्री महालक्ष्मी अष्टक हिंदी लिरिक्स
श्री शुभ ॥ श्री लाभ ॥ श्री गणेशाय नमः॥
नमस्तेस्तू महामाये श्रीपिठे सूरपुजिते ।
शंख चक्र गदा हस्ते महालक्ष्मी नमोस्तूते ॥१॥
नमस्ते गरूडारूढे कोलासूर भयंकरी ।
सर्व पाप हरे देवी महालक्ष्मी नमोस्तूते ॥२॥
सर्वज्ञे सर्ववरदे सर्वदुष्ट भयंकरी ।
सर्व दुःख हरे देवी महालक्ष्मी नमोस्तूते ॥३॥
सिद्धीबुद्धूीप्रदे देवी भुक्तिमुक्ति प्रदायिनी ।
मंत्रमूर्ते सदा देवी महालक्ष्मी नमोस्तूते ॥ ४ ॥
आद्यंतरहिते देवी आद्यशक्ती महेश्वरी ।
योगजे योगसंभूते महालक्ष्मी नमोस्तूते ॥ ५ ॥
स्थूल सूक्ष्म महारौद्रे महाशक्ती महोदरे ।
महापाप हरे देवी महालक्ष्मी नमोस्तूते ॥ ६ ॥
पद्मासनस्थिते देवी परब्रम्हस्वरूपिणी ।
परमेशि जगन्मातर्र महालक्ष्मी नमोस्तूते ॥७॥
श्वेतांबरधरे देवी नानालंकार भूषिते ।
जगत्स्थिते जगन्मार्त महालक्ष्मी नमोस्तूते ॥८॥
महालक्ष्म्यष्टकस्तोत्रं यः पठेत् भक्तिमान्नरः ।
सर्वसिद्धीमवाप्नोति राज्यं प्राप्नोति सर्वदा ॥९॥
एककाले पठेन्नित्यं महापापविनाशनं ।
द्विकालं यः पठेन्नित्यं धनधान्य समन्वितः ॥१०॥
त्रिकालं यः पठेन्नित्यं महाशत्रूविनाशनं ।
महालक्ष्मीर्भवेन्नित्यं प्रसन्ना वरदा शुभा ॥११॥
॥ इतिंद्रकृत श्रीमहालक्ष्म्यष्टकस्तवः संपूर्णः ॥
अथ श्री इंद्रकृत श्री महालक्ष्मी अष्टक
Please Like And Share This @ Your Facebook Wall We Need Your Support To Grown UP | For Supporting Just Do LIKE | SHARE | COMMENT.